क्या आपने सच मे राजर्षी शाहू महाराज को पढा हैं? ये बाते आपको पता है?
1) राजर्षी शाहू महाराज कोन थे?
शाहु महाराज जिन्हे राजर्षी शाहू महाराज भी काहा जाता है , वो मराठा भोसले राजवंश के राजा और कोल्हापूर रियासत के राजा थे. उनका जन्म 26 जून 1874 मे कोल्हापूर स्तीत कागल मे हूआ था ! उणका शासनकाल 1894-1900 और 1900-1922 तक था , उनको सच्चे प्रजातंत्रवादी और समाजसुधारक के रूप में जाना जाता है!
Shahu Maharaj images2) राजर्षी शाहू महाराज का नाम क्या था?
शाहु महाराज को हरकोई छत्रपती या राजर्षी शाहू नाम से परंतु उनका नाम कूछ ही लोग जाणते है, उनका पूरा नाम यशवंतराव जयसिंगराव घाटगे था और पिता जयसिंगराव कागल निवासी थे ! बाल अवस्था मे ही शाहू महाराज ने कोल्हापूर की राजगद्दी संभाली!
Shahu Maharaj photo3) अंग्रेजी शिक्षा और वैज्ञानिक सोच के ऊपर उनकी भूमिका !
जहा उस समय हर कोई पूरानी प्रथा परंपरा मे उलझा पडा था तब शाहू महाराज के दिलो दिमाक पर आंग्रेजी शिक्षा का प्रभाव गहेराई से पडा था! वो वैज्ञानिक सोच को बढावा देते थे और पुराणी प्रथा परंपराओ को महत्त्व नहीं देते थे !
4) दलितो और शोषितो के प्रति उनका कार्य ?
दलितो की दशा मे बदलाव लाने के लिये उन्होंने पुराणी प्रथाओ का अंत किया, भूमि सुधार लागू कर महरो को भुस्वामी बनणे का हक दिलाया ! इस हक के कारण महरोकी आर्थिक गुलामी दुर हो गयी !
उन्होंने अंबेडकर को दलितो का मुक्तिदाता कहा था वे बोले की अंबेडकर ही तुम्हारी बेडिया काट डालेंगे!
Shahu Maharaj jivan parichay
5) राजर्षी शाहू के कारण आरक्षण!
शाहु महाराज ने 1902 मे इंग्लंड जाकर कोल्हापूर के अंतर्गत प्रशासन मे 50 प्रतिषत पद पिछडी जातियो के लीए आरक्षित कर दिये ! महाराज के इस निर्णय को ब्राम्हनो का विरोध हूआ , क्युंकी उस वक्त हर पदोपर ब्राह्मण अधिकारी नियुक्त थे और आरक्षण के कारण अब नियुक्त ब्राम्हनो की संख्या घट कर कम हो गयी थी!
उन्होंने अस्प्रश्य जतियो के लिये सरकारी नोकरीयो मे आरक्षण प्रणाली शुरु की !
6) महिलाओ के प्रति शाहू महाराज की भूमिका !
उन्होंने महिलाओ को शिक्षित करने के लीए स्कुलो की स्थापना की, उन्होंने विधवा पुनर्विवाह को वैध बनाया और बाल विवाह रोकणे का प्रयास किया ! देवदासी प्रथा पर प्रतिबंध लागणे वाले काणून की शुरुवात कीई!...
आज हम उन्हे आरक्षण के जनक के नाम से भी जाणते है !
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